Genetic Testing in Jaipur: राजस्थान की राजधानी जयपुर में स्थित सवाई मानसिंह चिकित्सालय अपनी बेहतर स्वास्थ्य सेवाओं के लिए जाना जाता है। अब आधुनिक चिकित्सा पद्धति में अब एक नया अध्याय सवाई मानसिंह मेडिकल कॉलेज में जुड़ने जा रहा है। यह मेडिकल कॉलेज जेनेटिक टेस्टिंग की शुरुआत करने वाला देश का पहला मेडिकल कॉलेज होगा। इसके साथ ही राजस्थान देश का पहला ऐसा राज्य बन जाएगा, जिसके माध्यम से गर्भ में पल रहे शिशु की बीमारी की पहचान उसके माता-पिता के जीन से जुड़ी बीमारियों की पहचान से कर सकेंगे।
जानें क्या है जेनेटिक टेस्टिंग?
जेनेटिक टेस्टिंग एक ऐसा परीक्षण है, जिसकी सहायता से व्यक्ति के डीएनए(गुणसूत्र) का विश्लेषण किया जाता है। आधुनिक चिकित्सा में ये परीक्षण इतने सटीक है कि जिसकी मदद से आपके गुणसूत्र के जीनों में होने वाले असामान्य परिवर्तनों का पता लगाया जा सकता है। यही जीन आपके शारीरिक विकास का विकास और दिशा निर्देशन करते हैं। इसे सामान्य भाषा में अनुवांशिक टेस्टिंग भी कहते हैं।
अलग से खुलेगा मेडिकल जेनेटिक्स विभाग
सवाई मानसिंह मेडिकल कॉलेज में मेडिकल जेनेटिक्स विभाग की स्थापना हेतु वित्त विभाग से आवश्यक प्रस्ताव को स्वीकृति प्रदान कर दी है। विभाग को संचालन हेतु नए प्रोफेसर तथा असिस्टेंट प्रोफेसर के पदों का सृजन कर विशेषज्ञों को लाया जाएगा।
इसके साथ ही जयपुर के ही जेके लोन चिकित्सालय में एक नया डिपार्टमेंट ऑफ मेडिकल जेनेटिक्स की स्थापना की जाएगी। इसमें आम जनता के लिए ओपीडी तथा आईपीडी सेवाएं दी जाएगी। वहीं सवाई मानसिंह चिकित्सालय में टेस्टिंग हेतु मूल ढांचा तैयार होगा। इसी के महिला चिकित्सालय में गर्भस्थ शिशुओं की जांच के लिए फीटल मेडिसिन की शुरूआत होगी।
गर्भ में ही लग जाएगा रोग का पता
चिकित्सा शिक्षा सचिव अम्बरीश कुमार के अनुसार रेयर डिजीज का समय पर पता लगाने की दिशा में सरकार का यह क्रांतिकारी कदम है। ऐसी बीमारियों का समय पर पता लग जाने से आम लोगों का उपचार समय पर तथा सस्ता हो जाएगा। जब गर्भ में पल रहे शिशु की बीमारियों का पता जेनेटिक टेस्टिंग से समय पूर्व चल जाएगा। तो समय पर ही कदम उठाया जाना आसान हो जाएगा। इस पहल से भविष्य की कई जटिल बीमारियों के उपचार की दिशा में क्रांतिकारी तकनीक सिद्ध होगी।
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