Rajasthav Government School: अधिकारियों को सरकार से तनख्वाह तो मोटी चाहिए, लेकिन काम करने के नाम पर ऑफिस में AC की हवा खाएंगे। किसी भी सरकार में योजनाओं को सुचारू रूप से लागू करने और जनता को इसका लाभ दिलाने में अधिकारियों की अहम भूमिका होती है, लेकिन अगर अधिकारी अपनी जिम्मेदारी को भूल जनता द्वारा चुने मंत्रियों के साथ बदतमीजी पर उतर आए, तो उनके साथ क्या होना चाहिए। ऐसा ही एक मामला राजस्थान से सामने आया है।
मंत्री ने लगाई स्कूल स्टाफ को फटकार
शिक्षा मंत्री मदन दिलावर जयपुर जिले के बस्सी ब्लॉक स्थित रामरतन पूरा के सरकारी स्कूल का निरीक्षण करने पहुंचे। मंत्री जी ने वहां गंदगी देखी और स्कूल स्टाफ को जमकर फटकार लगाई। जब उन्होंने शिक्षा विभाग के उच्च अधिकारी CBEO लल्लू राम मीना से संपर्क करने की कोशिश की, तो मीना ने पहले तो फोन पर बात की, लेकिन जैसे ही उन्हें बताया गया कि शिक्षा मंत्री स्कूल में मौजूद हैं, उन्होंने फोन काट दिया। जिस अधिकारी की जिम्मेदारी बनती है कि वह जनता द्वारा चुने मंत्री को रिपोर्ट करे की उनके विभाग का काम कैसा चल रहा है, वह मंत्री का फोन कट कर रहा है।
हाल ही में अधिकारियों पर हुई थी कार्रवाई
हाल ही में जलदाय मंत्री कन्हैया लाल चौधरी ने अपने विभाग में व्याप्त भ्रष्टाचार को लेकर 40 से अधिक अधिकारियों को बर्खास्त किया था, क्योंकि वे मंत्रियों की बातों को नजरअंदाज करते थे। इस बार भी वही स्थिति देखने को मिली, शिक्षा मंत्री मदन दिलावर ने भी अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई का आदेश दिया है। इससे यह तो साफ हो गया है कि चाहे भजनलाल सरकार का कोई भी मंत्री हो, काम के मामले में सभी कितने सख्त हैं। क्या ऐसे अधिकारियों को बर्खास्त कर देना चाहिए, आप कमेंट कर अपनी राय जरूर दें।
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