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Chambal River: राजस्थान अपने पौराणिक संस्कृति, भौगोलिक, लोक परंपराओं के अद्भुत संगम से अपनी ओर आकर्षित करता है। यह जगह पर्यटकों के लिए आकर्षण का केंद्र है। लोग दूर-दूर से यहां घूमने के लिए आते हैं। इन सबके अलावा यहां पर एक जगह ऐसी भी है, जहां जाने से पहले लोग 10 बार सोचते हैं। हम राजस्थान कीी चंबल नदी के बारे में बात कर रहे हैं। लोग इस नदी के पानी तक को छूने तक से डरते हैं। चलिए आपको बताते हैं क्या है इस श्रापित नदी के पीछे की कहानी। 

द्रौपदी ने दिया था श्राप 

ये नदी सदियों पुरानी है। कहा जाता है कि एक वक्त राजा रतिदेव ने एक नहीं, बल्कि सैकड़ों जानवरों की चंबल नदी में बली दी थी, जिसके कारण पूरी नदी लाल रंग की हो गई थी। तब से लोगों के मन में इस नदी को लेकर काफी डर बैठ गया है। आसपास के लोग भी इस नदी का उपयोग करने से भी कतराते हैं। इसका नदी का जिक्र महाभारत काल में किया गया था। एक पौराणिक कथा के अनुसार, पांडवों की पत्नी द्रौपदी ने एक बार इस नदी को किसी कारणवश श्राप दे दिया था, जिसके बाद से इसकी गिनती पवित्र नदियों में नहीं होती। आज भी लोग इस नदी का पानी का उपयोग पूजा-पाठ और पवित्र स्थानों पर नहीं करते। 

इन राज्यों में भी बहती है नदी 

राजस्थान के अलावा ये नदी मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश में भी बहती है। इस नदी को श्रापित नदी भी कहा जाता है। कहते हैं कि इस नदी में जो भी व्यक्ति स्नान करता है, उसके जीवन में दुख और कष्ट आने शुरू हो जाते हैं। इस जगह पर आज भी कई ऐसी घटनाएं हो जाती हैं, जिसकी वजह से लोगों के मन में डर पैदा हो जाता है। जानकारियां सभी पौराणिक मान्यताओं और धार्मिक आस्थाओं पर आधारित हैं।