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Rajasthan Gulab Halwa: राजस्थान के पाली शहर में एक ऐसी मिठाई है, जो न केवल देश में बल्कि विदेशों में भी अपना स्वाद बिखेर रही है। आइए हम आपको बताते हैं इसकी खासियत...

Rajasthan Gulab Halwa: राजस्थान के पाली शहर में एक ऐसी मिठाई है, जो न केवल देश में बल्कि विदेशों में भी अपना स्वाद बिखेर रही है और इसका नाम है गुलाब हलवा। जी हां यह हलवा अपने अनोखे स्वाद और खास बनावट के कारण लोगों के दिलों पर छाया हुआ है। आइए हम आपको बताते हैं इसकी खासियत...

गुलाब हलवा की खासियत

गुलाब हलवा का नाम सुनकर लगता है कि इसमें गुलाब के फूल या गुलाब जल का उपयोग होता है, लेकिन ऐसा नहीं है। यह हलवा सिर्फ दूध, शक्कर, और इलायची से बनता है।

गुलाब हलवा बनने की कहानी

गुलाब हलवा की शुरुआत 1960 के आसपास हुई थी, जब पाली के एक मिठाई वाले मूलचंद कास्टिया के यहां काम करने वाले गुलाब पुरी नाम के एक कारीगर ने इसे बनाना शुरू किया था। इस हलवे को लेकर कहा जाता है कि गुलाब पुरी ने दूध को तब तक पकाया जब तक उसका रंग हल्का मरून न हो जाए, फिर उसमें इलायची डालकर हलवा बनाया। इसके बाद मूलचंद कास्टिया ने इसका स्वाद चखा और इसे अपनी दुकान पर बेचना शुरू कर दिया।

ये है गुलाब हलवा की लोकप्रियता

आजकल, पाली में कई दुकानें गुलाब हलवा बेचती हैं, और इसकी ब्रांच देश के बड़े शहरों में भी हैं। विदेशी पर्यटक भी इसे खूब पसंद करते हैं और इसका स्वाद सात समुंदर पार तक पहुंचा दिया है। पाली में रोजाना 2000 किलो से ज्यादा गुलाब हलवा बिक जाता है, और यह शहर की अर्थव्यवस्था में महत्वपूर्ण योगदान करता है। गुलाब हलवा अपने स्वाद के साथ-साथ अपनी कीमत के कारण भी लोगों के बीच खूब पसंद किया जाता है। यह करीब 300 रुपये किलो मिलता है।

गुलाब हलवा बनाने की विधि

गुलाब हलवा बनाने के लिए दूध, शक्कर, और इलायची की आवश्यकता होती है। दूध को तब तक पकाया जाता है जब तक उसका रंग हल्का मरून न हो जाए। फिर उसमें इलायची डालकर हलवा बनाया जाता है। गुलाब हलवा एक ऐसी मिठाई है जो अपने स्वाद और खास बनावट के कारण लोगों के दिलों पर छायी हुई है।

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