Rajasthan Film City: राजस्थान की जब भी बात होती है तब वहां की राजसी ठाट के दृश्य दिमाग में आने लगता है। यहां के रजवाड़ों का ठाट देखने के लिए लोग दूर दूर से उदयपुर, जोधपुर, जयपुर जैसे शहरों में आते हैं। लेकिन इन जगहों से हटकर आप राजसी ठाट के नजारे देखना चाहते हैं, तो यहां स्थित मांडवा आपको एक बार अवश्य जाना चाहिए। यहां पर आकर आप मध्यकालीन भारतीय तस्वीर को भी करीब से देख और समझ पाएंगे।
उस जमाने की तस्वीर यहां के हरेक दीवारों में छपी हुई है। मांडवा काफी स्मॉल कस्बा है, लेकिन यहां का माहौल लाजवाब रहता है। शेखावाटी के नाम से मशहूर यह कस्बा शूरवीर राजपूतों में शेखावत राजवंश का नाम सम्मान के साथ लिया जाता है। पूरे भारत का एक मात्र यह जगह है जहां पर अंग्रेजों का शासन नहीं चला था।
अंग्रेज भी नहीं कर पाए इसपर हुकूमत
मांडवा की सेठ और साहूकारों का इलाका भी कहा जाता है। यहां की भीति चित्रकारी फ्रेसको पेंटिंग पूरी दुनिया में मशहूर है। ऐसा कहा जाता है कि यह पेंटिंग 200 साल पुरानी है। लेकिन इसकी चमक पूरी दुनिया भर में आज भी राज कर रही है। इस अनोखे पेंटिंग को बनाने के लिए जिस रंग का इस्तेमाल किया जाता था वह पूरी तरह से नेचुरल होता था।
फिल्म सिटी से कम नहीं है यहां का नजारा
मांडवा नगर का दृश्य किसी फिल्म सिटी से कम नहीं दिखता है। यहां पर एक सौ से भी अधिक हवेलियां हैं जिन्हें देखने के बाद कोई फिल्म जैसा फीलिंग आई है। इन खूबसूरत हवेलियों में आज भी कोई नहीं रहता है और पूरी तरह से यह सुनसान है। इन हवेलियों की सुरक्षा के लिए कुछ चौकीदार यहां मौजूद रहते हैं। इस गांव में आने के बाद ऐसा लगता है कि वक्त एक सदी पीछे चला गया है। इसकी यही खासियत कि वजह से यह बॉलीवुड की पहली पसंद भी बनी हुई है। इस जगह पर बड़ी बड़ी फिल्में बन चुकी हैं।
कई बड़ी फिल्मों की हो चुकी है शूटिंग
फिल्मों की शुटिंग की बात करें, तो यहां पर वर्ष 1989 में आई बंटवारा मूवी इसी जगह पर शूट हुई थी। इसके अलावा जब वी मेट, बजरंगी भाईजान, पीके, लव आजकल, जेड प्लस, पहेली, गुलामी, मिर्जया, हॉफ गर्लफ्रेंड जैसी फिल्मों की शुटिंग यहां हुई हैं। इतना ही नहीं इस गांव के लोगों ने भी इन फिल्मों में एक्टिंग और हेल्पर का काम किया है।