Parvati Kalisindh Chambal Link Project: राजस्थान वासियों के लिए 17 दिसंबर का दिन बेहद खास रहा। दरअसल इस दिन पीएम मोदी ने राजस्थान वासियों को ढेर सारी सौगात देने का काम किया। इसमें सबसे प्रमुख है पार्वती कालीसिंध काली चंबल पिक परियोजना का शिलान्यास। इस योजना का महत्व ऐसे समझिए कि इसके पूरे होने का बाद राजस्थान में लगभग 2 दर्जन जिलों में पेयजल और सिंचाई का संकट दूर हो सकेगा।
जल के संकट से जूझने वाले राजस्थान की धरा के लिए पार्वती कालीसिंध चंबल लिंक परियोजना किसी अमृत की बूंद से कम नही है। दावा किया जा रहा है राजस्थान के लोगों के लिए ये मील का पत्थर साबित होगा और यहां कृषकों का भविष्य उज्जवल हो सकेगा। ध्यान देने योग्य बात है कि पीएम मोदी और मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा की उपस्थिति में इस खास योजना को हरी झंडी मिली है।
मील का पत्थर साबित होगी लिंक परियोजना
राजस्थान और मध्यप्रदेश सरकार के बीच हुई साझा समझौता राजस्थान वासियों के जीवन मे बड़ा परिवर्तन लाने वाली है। जयपुर में आयोजित कार्यक्रम के दौरान इसकी जानकारी दी गयी है। राज्य में 75 हजार करोड़ रुपए की लागत से पूर्ण होने वाली पार्वती कालीसिंध चंबल लिंक परियोजना आगामी दिनों में राज्य वासियों के लिए मील का पत्थर साबित होगा।
इस खास परियोजना के तहत पार्वती, कालीसिंध और चंबल नदी को जोड़ने की रूपरेखा तैयार की गई है। इस परियोजना के पूर्ण होने के बाद राजस्थान के 21 जिलों में पेयजल और सिंचाई का संकट दूर होगा। इसमें जयपुर ग्रामीण, झालावाड़, सवाई माधोपुर, केकड़ी डीग, भरतपुर, टोंक, अजमेर, जयपुर, बूंदी, करौली, बारां, धौलपुर, कोटा, दूदू, गंगापुर, खैरथल तिजारा, दौसा, अलवर, ब्यावर, कोटपूतली-बहरोड़ जैसे जिले शामिल हैं।
दावा किया जा रहा है कि इस परियोजना के पूर्ण होने के बाद कृषक के साथ व्यवसायी व आम नागरिक लाभवनवित होंगे। एक और जहां आम नागरिकों को पेयजल उपलब्ध होगा तो वहीं दूसरी ओर कृषकों को सिंचाई और व्यवसायियों के लिए व्यवसाय हेतु प्रचुर मात्रा में जल उपलब्ध हो सकेगा।
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