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Alwar: अलवर जिले के माजरीकलां तहसील में एक ऐसा गाँव है, जहां के हर घर में एक व्यक्ति नेता या फिर शिक्षक ज़रूर है और यही नहीं गाँव का संबंध पहले चुनाव 1952 से भी है।

Dewani Village: राजस्थान अपनी स्थापत्य कला जैसे किले, मंदिर, हवेलियों और बावडियों के लिए प्रसिध्द है, जिसके मंदिर या इमारत जो अपने अन्य कारण से जाना जाता है। अलवर जिले के माजरीकलां तहसील में एक गाँव है डवानी जहां की पहचान नेताओं और शिक्षकों से है। दरअसल, इस गाँव के हर घर में एक व्यक्ति नेता या फिर शिक्षक ज़रूर मिल जाएगा। 

आजादी के बाद पहले चुनाव से गाँव का संबंध

इस गाँव को 200 साल पहले उजड़ गया था। लेकिन पूर्व सीताराम के पूर्वज गांव में दुबारा आकर बसे। आजादी के बाद 1952 के चुनाव में यहां के बाबू सपतराम विधायक का चुनाव जीते और प्रभुदयाल यादव मंत्री बने। वहीं, तोताराम यादव और प्रभातीलाल यादव शिक्षक बने। इसी के बाद से गाँव में एक शिक्षक और नेता बनने की परंपरा शुरू हो गई।

सुविधाओं से युक्त है गाँव

जानकारी के मुताबिक़ गंडाला, खोहर और बूढवाल के मध्य स्थित इस गांव डवानी में सभी सुविधाएं हैं। गांव में सभी रास्ते पक्के है स्वच्छ एवं शुद्ध घर-घर नल सुविधा, एक राजकीय और एक निजी विद्यालय है। इसके अलावा उपस्वास्थ्य केंद्र, 33 केवी जीएसएस और सहकारी समिति मुख्यालय भी स्थित है।

गाँव का धार्मिक महत्व

गाँव के मध्य जोहड़ पर बाबा शीतलनाथ महाराज का आश्रम है। यहां पर बाबा  बाबा शीतलनाथ ने तप किया था। प्रत्येक वर्ष बैसाख शुल्क पंचमी को बाबा मेला लगता है। इन्हीं के याद में नववर्ष पर प्रतिभा समान समारोह आयोजित किया जाता है। गावं में श्रीराम मंदिर, शिव और राधाकृष्ण के मंदिर भी हैं।

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राजनीति और शिक्षा के क्षेत्र में गाँव की पहचान

गाँव डवानी के निवाली जसविंदर यादव वर्तमान में अजमेर विश्वविद्यालय के महासचिव हैं साथ ही युवा कांग्रेस के प्रदेश सचिव भी है। यही नहीं गाँव के छह बच्चे आईआईटियन और पांच बच्चे एमबीबीएस कर रहे हैं।

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