Mount Abu Adhar Devi Temple : राजस्थान अपनी परंपराओं और धार्मिक मान्यताओं के लिए दुनिया भर में जाना जाता है। यहां आपको अनूठी मान्यता और परंपरा देखने को मिल जाएंगे। लेकिन राजस्थान के माउंट आबू में एक ऐसा मंदिर स्थित है यहां की पूजा पद्धति बाकी के मंदिरों से बिल्कुल ही अलग है। माउंट आबू में स्थित अधर देवी का मंदिर है। यह मंदिर माता सती के 51 शक्तिपीठों में से 15वां शक्तिपीठ माना जाता है। इस मंदिर में मां दुर्गा के प्रतिमा की नहीं बल्कि होठों की उपासना होती है। नवरात्रि के समय यहां भक्तों की भीड़ उमड़ती है। कहा जाता है कि नवरात्रि के समय मां के दर्शन करने से सारे कष्ट और पीड़ा दूर हो जाते हैं और उन्हें मोक्ष की प्राप्ति होती है।
अधर देवी मंदिर माता सती की 15वां शक्तिपीठ
अधर देवी मंदिर को माता सती के 51 शक्तिपीठ में से 15 वर्ष शक्तिपीठ माना जाता है। जब माता सती ने अपने पिता दक्ष के अपमान से दुखी होकर यज्ञ अग्नि में आत्म आहुति दी थी। जब भगवान शिव माता के शरीर को लेकर तांडव करने लगे थे तब सुदर्शन चक्र का इस्तेमाल करते हुए भगवान विष्णु ने माता सती के शरीर को 51 स्थानों पर गिरा दिया। जहां-जहां शरीर गिरा वह स्थान शक्तिपीठ कहलाया।
माउंट आबू में गिरा था माता सती का होठ
भगवान विष्णु ने जब सुदर्शन चक्र चलाया था तब माता सती का होठ माउंट आबू के इसी स्थान में गिरा था। इसलिए इस मंदिर को "अधर देवी" कहा जाता है। यहां नवरात्रि के समय में भक्तों के लिए नवरात्रि में विशेष आयोजन किया जाता है। अखंड पाठ के साथ-साथ महायज्ञ का भी आयोजन किया जाता है।
गुफा के अंदर मंदिर है स्थित
मंदिर में पहुंचने के लिए 365 सीढ़ियां चढ़नी पड़ती है। मंदिर एक गुफा के अंदर है देवी के गुप्त रूप में दर्शन किए जाते हैं। मंदिर में स्थित चरण पादुका में माता के चरणों की पूजा की जाती है।